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ब्रह्मावत्सों  ने प्रजापिता ब्रह्मा बाबा को किया याद

भिवानी, 18 जनवरी। प्रजापिता ब्रह्माकुमारीज की शाखा सिद्धि धाम में ब्रह्मा बाबा के 56वें स्मृति दिवस पर राजयोगिनी बीके सुमित्रा बहन की उपस्थिति में ब्रह्माकुमार -कुमारियों ने उन्हें याद किया। कार्यक्रम के दौरान म्हारी संस्कृति म्हारा स्वाभीमान संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष हनुमान कौशिक मुख्य रूप से उपस्थित रहे। बीके सुमित्रा ने बताया कि  18 जनवरी विशेष अव्यक्त दिवस है जिस दिन प्रजापिता ब्रह्मा बाबा ने 18 जनवरी 1969 के दिन सम्पूर्णता प्राप्त की थी। ब्रह्मा बाबा का लौकिक नाम लेखराज कृपलानी था एवं उनका जन्म 15 दिसंबर 1884 को पाकिस्तान के सिन्ध हैदराबाद में पिता खूबचंद कृपलानी के घर में हुआ था। करीब 20 साल की आयु में ब्रह्मा बाबा के पिता खूबचंद का भी देहांत हुआ व माँ का देहान्त उनकी अल्पायु में ही हो गया था। 1935 -36 से ही ब्रह्मा बाबा दादा लेखराज को परमात्मा द्वारा साक्षात्कार होने लगे थे।  उस समय उनको यह निश्चित नहीं था कि यह सब कौन कर रहा है।

 

दैवीय प्रेरणा अनुसार उन्होंने एक पाठशाला का आरम्भ कर, आने वाले बच्चों को गीता के पाठ व आध्यात्मिक संस्करण सुनाने लगे थे।  ब्रह्मा बाबा ने अपने स्वयं के सत्संग का प्रचार करना या संचालन करना शुरू कर दिया , जिसने 1936 तक, लगभग 300 को आकर्षित किया था।  1937 में लेखराज ने अपने सत्संग के कुछ सदस्यों को प्रबंध समिति का नाम दिया और अपनी संपत्ति समिति को हस्तांतरित कर दी। यह समिति, जिसे ओम मंडली के नाम से जाना जाता है , ब्रह्मा कुमारियों का केंद्र थी। अपने अनुयायियों के परिवार के सदस्यों के उत्पीडऩ, कानूनी कार्रवाइयों और विरोध से बचने के लिए, लेखराज समूह को हैदराबाद से कराची ले गए , जहां वे एक उच्च संरचित आश्रम में बस गए। भारत के विभाजन के बाद , ब्रह्मा कुमारियाँ 5 मई 1950 को भारत में माउंट आबू राजस्थान में स्थानांतरित हो गईं । 18 जनवरी 1969 को लेखराज की मृत्यु हो गई और बाद में ब्रह्माकुमारीज का विस्तार अन्य देशों में हो गया।

 

कार्यक्रम में विशेष रूप से उपस्थित हनुमान कौशिक ने कहा कि मानव को आत्मिक शांति दिलाने के लिए ब्रह्मा बाबा ने आध्यात्म की जो ज्योति प्रज्वलित की थी आज वह ज्योति पूरे विश्व को आध्यात्म की शिक्षा प्रदान कर रही है। बस जरूरत है तो हमें बाबा द्वारा दिखाए हुए रास्ते पर चलने की। इस अवसर पर बीके आरती, बीके रामनिवास सैय, बीके कृष्ण रानीला, बीके नीलम, बीके गीता, बीके सुनीता हरीपुर, बीके भीम व मीडिया कॉर्डिनेटर बीके धर्मवीर सहित अनेक ब्रह्मावत्स उपस्थित रहे।

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