साइबर क्राइम कण्ट्रोल पानीपत टीम को राष्ट्रिय स्तर साइबर क्राइम गैंग को सरगना सहित गिरफ्तार करने में मिली सफलता
Ο ऑनलाइन भास्कर नेशनल डेस्क
साइबर अपराध थाना पुलिस पानीपत ने एक नेशनल साइबर क्राइम गैंग के सरगना समेत चार लोगों को गिरफ्तार किया है साइबर अपराध थाना की टीम ने इन लोगों को बिहार के पटना से गिरफ्तार किया है। ये गैंग देश भर में अलग अलग राज्यों में लोगों को कंपनी की फ्रेंचाइजी देने व लक्की ड्रा निकालने के नाम पर बातों में फंसाता था। फिर इनसे कागजातों के वेरिफिकेशन, फीस व टैक्स के नाम पर पैसे ऐंठता था।
देश भर में फैले इस गैंग ने अब तक करोड़ों रुपये का चूना लोगों को लगाया है । जाँच में मालूम हुआ कि पूरा सिंडिकेट बिहार के पटना से चल रहा था। इन्होंने पानीपत के सेक्टर 12 निवासी व्यक्ति को कंपनी की फ्रेंचाइजी देने के नाम पर अपने जाल में फंसाकर उससे 6.60 लाख रुपये की ठगी की थी। पुलिस इन ठगों की मोबाइल की लोकेशन के जरिए इन तक बिहार पहुंच गई थी।
जहां पुलिस की टीमें 12 दिन तक रही। फिर चारों को गिरफ्तार किया। इनके पास से पुलिस ने 14 मोबाइल, एक लैपटॉप, 18 सिम कार्ड, एसबीआई की दो फर्जी मोहर, चार अन्य मोहर, लोगों के घर के पते लिखे 304 लिफाफे व 900 लक्की ड्रा कूपन व 93 ऑफर फार्म बरामद किए हैं। सरगना समेत दो को आठ दिन के रिमांड पर लिया गया है। दूसरे दो आरोपियों को दो दिन के रिमांड पर लिया गया है।
एएसपी मयंक मिश्रा ने बताया कि पानीपत साइबर अपराध थाना पुलिस ने रविवार को बिहार के पटना से अमित निवासी गांव कतरी सराय, जिला नालंदा, बिहार, दीपक निवासी गांव सूपाल, पटना, कुलदीप निवासी लखी सराय गांव, पटना व चंदन निवासी गांव कतरी सराय, जिला नालंदा, बिहार को गिरफ्तार किया है। इस गिरोह का मुख्य सरगना अमित है।
जाँच के मुताबिक सामने आये तथ्यों से मिली जानकारी के अनुसार अमित ने अपने दोस्त दीपक के साथ मिलकर डिकैथलॉन कंपनी की एक फर्जी वेबसाइट बनाई। इन्होंने गुगल पर कंपनी का एक विज्ञापन भी दिया। कंपनी के बारे में सर्च करने पर इनके द्वारा बनाई गई फर्जी साइट ही सबसे ऊपर आती थी। ये लोगों को डिकैथलॉन कंपनी की फ्रेंचाइजी देने के लिए कॉल करते थे। उनके पास ई-मेल भेजी जाती थी।
जो भी फ्रेंचाइजी लेने के लिए राजी हो जाता उनसे पंजीकरण, सुरक्षा राशि व कंपनी की टीम के निरीक्षण के नाम पर पैसे लिए जाते थे। इसके अलावा इन्होंने एक कूपन का खेल भी लॉन्च किया था। इसमें फर्जी कूपन भी छपवाए गए। लोगों को मोबाइल कंपनी कर्मचारी बनकर कॉल की जाती थी। लोगों को बताया जाता कि वो इनाम में कार या मोटरसाइकिल जीते हैं। फिर उन लोगों के पते पर एक पत्र भी भेजा जाता। लोगों को इनाम में जीती हुई कार या मोटरसाइकिल देने के नाम पर उनसे टैक्स के रूप में गाड़ी की कीमत की 20 प्रतिशत राशि वसूल ली जाती थी। फिर ये अपना नंबर बदल लेते थे।
अब तक ये गिरोह देश भर में करोड़ों रुपये की ठगी कर चुका है। इन्होंने पानीपत के सेक्टर 12 के यश गर्ग से भी डिकेथलॉन कंपनी की फ्रेंचाइजी के नाम पर 6.60 लाख रुपये ठगे थे। इस मामले की जांच करते हुए ही साइब अपराध थाना पुलिस आरोपियों तक पहुंची है।