2022 में खराब हुई फसलों का क्लेम: ना क्लेम मिला-ना सरकार जागी, 8 दिन से 110 फ़ीट ऊँची टंकी पर चढ़े किसान
बीमा क्लेम की मांग को लेकर पानी टंकी पर चढ़े 4 किसानों का आठवां दिन
धरना स्थल पर राजस्थान और पंजाब से पहुंचने लगे हैं किसान
हरियाणा के किसानों को नहीं मिल रहा अपना हक : अशोक तंवर
राजेंद्र कुमार
सिरसा। हरियाणा में सिरसा जिले के गांव नारायण खेड़ा के जलघर में बनी पानी की टंकी पर 4 किसान पिछले 8 दिन से चढ़े हुए हैं। गर्मी में उमस के कारण किसानों को काफ ी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। मगर यह निश्चित नहीं की बीमा क्लेम कब मिलेगा। जिला प्रशासन के अधिकारी स्पष्ट तौर पर बताने के लिए तैयार नहीं है। वहीं 13 किसान व सरपंच आमरण अनशन पर बैठे हुए हैं। बुधवार को आम आदमी पार्टी के नेता अशोक तंवर,इनेलो नेता करण चौटाला,पूर्व विधायक प्रहलाद सिंह गिला खेड़ा, भारतीय किसान यूनियन के रवि आजाद, भारतीय किसान यूनियन चढुनी के जिलाध्यक्ष सिकंदर रोड़ी , गोकुल सेतिया,हरियाणा किसान मंच के प्रदेशाध्यक्ष प्रहलाद सिंह भारूखेड़ा, किसान नेता प्रकाश ममेरां,डॉ वीरेंद्र सिवाच, लीलू राम डूडी, दौलत चौधरी,सहित कई सियासी पार्टियों और किसान संगठनों के नेताओं ने धरना स्थल पर पहुंचकर किसानों को अपना समर्थन दिया।
पानी की टंकी पर चढ़े किसान भरत सिंह ने बताया कि किसानों को अभी तक बीमा क्लेम नहीं मिला है। किसानों की जान लेकर शायद बीमा दिया जाएगा। क्योंकि पानी की टंकी पर उमश व गर्मी में चक्कर आ रहे हैं। जगह नहीं होने पर अच्छे से सो नही पा रहे हैं। टंकी पर रात्रि के समय काफी तकलीफ झेलनी पड़ती है। टंकी पर चढ़े किसानों की सूचना दूसरे किसानों को जैसे जैसे मिल रही है हरियाण, पंजाब, राजस्थान व अन्य स्थानों से ट्रैक्टर ट्रालियों व निजी वाहनों से किसान नारायण खेड़ा गांव में पहुंचने लगे। किसानों ने जलघर के अंदर टेंट भी लगाया हुआ है जहां किसान दिनभर नारेबाजी कर प्रदर्शन कर रहे हैं। महिलाएं पारंपरिक गीत गाकर सरकार को कोस रही है। टंकी पर चढ़े किसानोंं तक आवश्यक सामान बाल्टी को रस्सी के सहारे ऊपर तक पहुंचाया जा रहा है। किसानों का कहना है कि जब तक बीमा क्लेम उनके बैंक खातों में नहीं आएगा, तभी तक टंकी पर चढ़े रहेंग।े
आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता डा. अशोक तंवर बुधवार को नारायण खेड़ा गांव में पहुंचे। डा. अशोक तंवर ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि किसानों को अभी तक वर्ष 2022 में हुई फ सल का बीमा नहीं मिला है और अतिवृष्टि व बाढ़ से फ सल ओर खराब हो गई है। किसान अपना हक मांग रहे हैं। मगर किसानों को हक नहीं दिया जा रहा है। यह किसानों के साथ धोखा किया जा रहा है।