नारनौल, 22 नवंबर। हरियाणा राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की ओर से गतदिवस खंड सतनाली में अभिभावकों व आंगनवाड़ी वर्कर व हैल्पर के लिए आयोजित सामुदायिक जागरुकता कार्यक्रम आयोजित किया।
इस मौके पर हरियाणा राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की सदस्य सुमन राणा व गणेश कुमार ने कहा कि समाज में बच्चों की सुरक्षा एवं सहायता सुनिश्चित करने का हम सभी का कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि बाल विवाह समाज की बहुत बुरी कुरीति है। इसके उन्मुलन के लिए हम सबको मिलकर कार्य करना होगा। छोटी बच्चियों का बाल विवाह उनके साथ शारीरिक व मानसिक रूप से क्रूरता है। सरकार की ओर से इसकी रोकथाम के लिए सार्थक कदम उठाए जा रहे हैं। बाल विवाह करने वाले अभिभावक, हलवाई, टैंट, पण्डित आदि की सहायता करने वाले के लिए कठोर दण्ड व जुर्माने का प्रावधान है।
श्री कुमार ने कहा कि बच्चों की सुरक्षा एवं सहायता के लिए सर्वप्रथम उनके बाल अधिकार को सुनिश्चित करना है। बच्चों को जीने का अधिकार शिक्षा का अधिकार, सहभागिता का अधिकार व सुरक्षा का अधिकार है। इन अधिकारों को सुनिश्चित करके ही बच्चों का शारिरीक, मानसिक, सामाजिक व बौद्धिक विकास किया जा सकता है। उन्होनें कहा कि बाल अपराध, यौन शोषण जैसी बढ़ती अपराधिक घटनाओं से बचने के लिए बच्चों व उनके अभिभावकों को सचेत व जागरुक होना पड़ेगा तथा उन्हें अपने व पराए की पहचान करनी होगी। उन्होंने कहा कि बच्चों को गुड टच व बैड टच के बारे में भी जागरुक करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा विषम परिस्थितियों में अगर बच्चे को कहीं सूचना देनी है तो चाइल्ड हेल्पलाईन नंबर 1098 पर 24X7 कभी भी कॉल कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि आयोग की तरफ से समय-समय पर दौरे कर बच्चों की सभी स्तर पर सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।
इस अवसर पर जिला बाल कल्याण समिति व जिला बाल संरक्षण इकाई कार्यालय के कर्मचारी उपस्थित थे।