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आयुर्वेदिक चिकित्सकों के रिक्त पदों से चिकित्सा केन्द्र बन्द होने की स्थिति के लिये केन्द्र सरकार जिम्मेदार – सांसद नीरज डांगी

आयुर्वेदिक चिकित्सकों के रिक्त पदों से चिकित्सा केन्द्र बन्द होने की स्थिति के लिये केन्द्र सरकार जिम्मेदार – सांसद नीरज डांगी 

 

आबूरोड (सिरोही)। सांसद नीरज डांगी ने सदन में आयुर्वेदिक चिकित्सकों के रिक्त पदों पर तारांकित प्रश्न के माध्यम से चिकित्सकों के रिक्त पदों को नहीं भरने के कारण कई आयुर्वेदिक चिकित्सा केन्द्र बन्द होने की स्थिति के लिये केन्द्र सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए तत्काल राज्य सरकारों को मार्गदर्शन एवं वित्तीय सहायता दिये जाने की मांग की। राज्यसभा सांसद नीरज डांगी सदन में बोलते हुए कहा कि देशभर में विशेषकर राजस्थान में आयुर्वेदिक चिकित्सकों के अनेक पद रिक्त पड़े हैं जिसके कारण कई चिकित्सा केन्द्र चिकित्सकों की कमी के कारण बन्द होने के कगार पर है जिसके लिये केन्द्र व राज्य सरकार की नीतियां जिम्मेदार है। जबकि पूरे देश में आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति के प्रति आमजन में इसकी मांग बढ़ी है।

डांगी के सदन में उठाये गये प्रश्न पर केन्द्रीय आयुष मंत्री द्वारा जवाब नहीं बन पाने के कारण उन्होंने इससे पल्ला झाड़ते हुए कहा कि राजस्थान राज्य सहित देशभर में आयुर्वेदिक चिकित्सकों की रिक्तियों की संख्या का ब्यौरा केन्द्र सरकार द्वारा नहीं रखा जाता। उन्होंने कहा कि आयुर्वेदिक चिकित्सकों के रिक्त पदों को भरने की प्राथमिक जिम्मेदारी संबंधित राज्य/संघ राज्य क्षेत्र की सरकारों की है। लेकिन प्रत्युत्तर में केन्द्रीय आयुष मंत्री ने माना कि राष्ट्रीय आयुष मिशनल (एनएएम) की केन्द्रीय प्रायोजित योजना के तहत 50/30/10 तक बिस्तरों वाले एकीकृत आयुष चिकित्सालयों की स्थापना के लिये विशिष्ट एकल आयुष अस्पतालों के उन्नयन के घटकों में, आयुर्वेद सहित आयुष चिकित्सकों की संविदात्मक तैनाती के प्रावधान की जानकारी दी तथा राज्य/संघ क्षेत्र सरकारों की योजना के दिशानिर्देशों के अनुसार राज्य वार्षिक कार्य योजनाओं के माध्यम से प्रस्ताव केन्द्र सरकार को भिजवाने की आवश्यकता से अवगत कराया। साथ ही यह भी बताया कि भारत सरकार ने प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों और जिला अस्पतालों में आयुष सुविधाओं के सह-स्थापन की कार्यनीति अपनाई है जिससे रोगियों को एक ही स्थान पर विभिन्न चिकित्सा पद्धतियों का विकल्प चुनने में मदद मिल सके परन्तु पद रिक्त होने के कारण राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) के तहत इसका लाभ आमजन को नहीं मिल पा रहा है। एक अन्य तारांकित प्रश्न के पूरक प्रश्न के तहत नीरज डाँगी ने केन्द्रीय आयुष मंत्री से पूछा कि आयुष उत्पादों के निर्यात की निगरानी और व्यापार संबंधी मुद्दों के समाधान के लिये आयुष निर्यात संवर्धन परिषद (आयुष एक्स सीआईएल) की स्थापना को देखते हुए केन्द्र सरकार के लक्ष्य एवं लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिये क्या रणनीतियां बनाई गई है। जिसका प्रत्युत्तर आयुष मंत्री द्वारा देते नहीं बना और उन्होंने कहा कि यह प्रश्न आयुष मंत्रालय से संबंधित नहीं है, जबकि नीरज डाँगी द्वारा पूछा गया प्रश्न सीधे-सीधे आयुष मंत्रालय से ही संबंधित है।

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